- Hindi News
- Local
- Bihar
- Nitish Kumar: Mewa Lal Chaudhary Resignation Update | Bihar Education Minster Mewa Lal Chaudhry Resigns From Nitish Kumar Cabinet
Ads से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप
पटना23 मिनट पहले
- कॉपी लिंक

मेवालाल ने आज ही पदभार ग्रहण करते वक्त कहा था कि उन पर कोई चार्जशीट नहीं है और जिन लोगों ने उन्हें बदनाम करने की साजिश रची है, उन्हें 50 करोड़ रुपए की मानहानि का नोटिस भेजेंगे। -फाइल फोटो
बिहार के शिक्षा मंत्री मेवालाल चौधरी ने इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने गुरुवार को ही पद संभाला था। करीब ढाई घंटे बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया। चौधरी ने नीतीश कुमार के साथ 16 नवंबर को कैबिनेट मंत्री पद की शपथ ली थी।
मेवालाल चौधरी को कैबिनेट में शामिल करने का फैसला नीतीश सरकार के लिए किरकिरी माना जा रहा था। दरअसल, नई सरकार में दो चौधरी तो तय थे- विजय कुमार चौधरी और अशोक चौधरी। मेवालाल चौधरी का नाम चौंकाने वाला था। 2010 में जब वे बिहार एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी के कुलपति थे, तब उन पर भर्ती घोटाले का आरोप लगा था। इसके चलते उन्हें अपनी कुर्सी तक गंवानी पड़ी थी।
संभालने पर संशय था
पौने एक बजे मेवालाल ने शिक्षा विभाग में पहुंचकर पदभार संभाला और करीब ढाई घंटे के अंदर ही उन्होंने राज्यपाल को इस्तीफा भी दे दिया। एजुकेशन का पोर्टफोलियो दिए जाने के बाद से चर्चा थी कि मेवालाल शिक्षा मंत्री का पद संभालेंगे यानी नहीं। उन्होंने जदयू के प्रदेशाध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से मुलाकात भी की थी। इस्तीफे के बाद कहा जा रहा है कि नीतीश करप्शन पर समझौता नहीं कर सकते।
मानहानि का नोटिस दूंगा
पदभार संभालते हुए मेवालाल बोले कि मुझ पर कोई चार्जशीट नहीं है। जिन लोगों ने बदनाम करने की साजिश रची है, उन्हें 50 करोड़ रुपए की मानहानि का नोटिस भेजेंगे।
पक्षपात की बात कबूली थी
कहा जाता है कि पटना हाईकोर्ट के पूर्व जज एसएमएम आलम की जांच कमेटी के सामने मेवालाल ने कबूल किया था कि उन्होंने नियुक्तियों में पक्षपात किया है और उन्होंने उम्मीदवारों के लिए रिमार्क्स, वायवा और एग्रीगेट कॉलम खुद भरा था। यह घोटाला तब सामने आया था, जब राष्ट्रीय पात्रता परीक्षा (NET) में फेल हुए 30 से ज्यादा उम्मीदवारों का चयन किया गया था।
मेवालाल की पत्नी की मौत पर रिटायर्ड IPS ने सवाल उठाए
मेवालाल की पत्नी की 27 मई 2019 को मौत हो गई थी। VRS ले चुके IPS अमिताभ कुमार दास ने DGP एसके सिंघल को खत लिखकर मांग की थी कि मेवालाल की पत्नी की झुलसकर हुई मौत के मामले में SIT से जांच कराई जाए। भास्कर के हाथ जब ये खत लगा, तो हमने इस मामले से जुड़े थानेदार को फोन लगाया, कुछ सवाल पूछे। दिलचस्प बात ये है कि मंत्री मेवालाल के पीए को इसकी खबर लग गई। थानेदार से बातचीत के ठीक 22 मिनट बाद उन्होंने भास्कर रिपोर्टर को फोन किया और पूछा- मंत्रीजी के बारे में कुछ इन्क्वायरी कर रहे थे?